प्रेस विज्ञप्ति

प्रथम बार दादाभाई नौरोजी अवार्ड्स का वितरण

ब्रिटेन के उप प्रधान मंत्री निक क्लेग ने प्रथम दादाभाई नौरोजी अवार्ड्स के विजेताओं की घोषणा करते हुए, ब्रिटेन-भरत संबंधों के निर्माण में उनके योगदानों की सराहना की।

यह 2010 to 2015 Conservative and Liberal Democrat coalition government के तहत प्रकाशित किया गया था

दादाभाई नौरोजी अवार्ड्स ब्रिटिश सरकार द्वारा ब्रिटेन-भरत संबंधों की सेवा के लिए प्रदान किए जाते हैं।

इन अवार्डों का निर्णय 3 श्रेणियों: वणिज्य, संस्कृति तथा शिक्ष में सार्वजनिक प्रविष्टियों के आधार पर मंत्रियों द्वारा किया गया। इन्हें आज ब्रिटिश अनिवासी भरतीयों के लिए विदेश तथा कॉमनवेल्थ कार्यालय के स्वागत समारोह में प्रदान किया गया, जिसमें भरतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने भाग लिया।

नौरोजी अवार्ड्स विजेता

संस्कृति

संस्कृति का अवार्ड अभिनेता माधव शर्मा को गया, जिन्होंने पिछले 50 वर्षों के दौरान, रॉयल शेक्सपीयर कंपनी के साथ, वेस्ट एंड कार्यक्रमों में, टीवी कार्यक्रमों, जैसे- कोरोनेशन स्ट्रीट में तथा फिल्मों जैसे- 바카라 사이트ईस्ट इज वेस्ट바카라 사이트 में तरह-तरह की भरतीय-ब्रिटिश भूमिकाओं में काम किया है। उनका वर्तमान प्रदर्शन, 바카라 사이트भरत, ब्लाइटी एंड द बार्ड바카라 사이트 ने हाल में भरत के कई शहरों का भ्रमण किया है, और वे ब्रिटेन तथा भरत के बीच सांस्कृतिक संबंधों की निकटता के वास्तविक पैरोकार हैं।

अन्य चुने हुए अभ्यर्थी थे प्रख्यात संगीतज्ञ, धुन-निर्माता, डीजे तथा लेखक नितिन साव्हने।

शिक्ष

शिक्ष का अवार्ड डेम आशा खेमका ओबीई को प्राप्त होगा। वे विजन वेस्ट नॉटिंघम कॉलेज की प्राचार्या, भरत के कॉलेज एसोसिएशन की संस्थापक अध्यक्ष, तथा भरत-ब्रिटिश व्यापार परिषद की सदस्य हैं। उन्होंने ब्रिटेन के कॉलेजों तथा भरतीय शिक्ष प्रदाताओं के बीच कई साझेदारियों, तथा ब्रिटेन और भरत की मुख्य संस्थाओं के बीच रणनैतिक गठबंधनों की स्थापना की है, जिनमें चैंबर ऑफ इंडियन इंडस्ट्री तथा फेडरेशन ऑफ इंडियन चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के नाम शामिल हैं। वे ब्रिटेन-भरत संबंधों के प्रोत्साहन के लिए वणिज्य तथा समता जैसे अनेक क्षेत्रों में सक्रिय भूमिका निभाती रही हैं।

इस श्रेणी में अन्य नामांकित अभ्यर्थी थे प्रोफेसर सुनील खिलनानी, जिन्होंने किंग्स कॉलेज लंदन में इंडियन इंस्टिट्यूट की स्थापना की है, जो भरत (तथा दक्षिण एशिया) पर शोध तथा शिक्षण क्षमता के लिए सबसे महत्वपूर्ण केंद्रों में एक है।

वणिज्य

पैट्रिशिया हैविट, यूके-इंडिया बिजनेस काउंसिल (यूकेआईबीसी) की अध्यक्षा, प्रमुख भरतीय शहरों में ब्रिटेन-भरत व्यापार केंद्रों की स्थापना में अपने योगदान, तथा भरत में लगने वाले लघु तथा मध्यम के साथ-साथ बड़े उद्यमों की स्थापना में सहयोग के लिए वणिज्य का अवार्ड प्राप्त कर रही हैं। प्रथम ब्रिटेन-भरत संयुक्त आर्थिक तथा व्यवसाय समिति के गठन में उनकी मुख्य भूमिका रही, तथा वे ब्रिटेन-भरत संबंधों की एक सक्रिय पैरोकार रही हैं।

वणिज्य श्रेणी के अवार्ड के लिए अन्य नामांकित अभ्यर्थियों में, उदय ढोलकिया ओबीई (इंडो-ब्रिटिश ट्रेड काउंसिल के अध्यक्ष) तथा होटल व्यवसायी और रेस्टोरेंट सम्राट दिलजीत सिंह राना एमबीई शामिल थे।

अवार्ड प्रदान करते हुए, उप-प्रधानमंत्री ने कहा:

ब्रिटिश सरकार की ओर से 3 विशिष्ट व्यक्तियों को ये अवार्ड प्रदान करते हुए मुझे अत्यंत खुशी हुई है। पैट्रिशिया हैविट, आशा खेमका तथा माधव शर्मा ने ब्रिटेन तथा भरत के संबंधों को मजबूत करने के लिए अथक परिश्रम किया है।

ब्रिटेन-भरत संबंधों के समर्थक के रूप में, उनका काम दादाभाई नौरोजी की भावनाओं के अनुरूप संचालित, तथा हमारे दोनों महान राष्ट्रों द्वारा साथ मिलकर न्याय, परस्पर समझदारी तथा आर्थिक समृद्धि प्राप्त करने की दिशा में काम करने में सहायक रहा है।

यह अवार्ड हमें याद दिलाता है कि भरत के साथ हमारे संबंध ऐसे हैं जिन्हें निश्चित रूप से प्रोत्साहित किया जाना है, और ऐसे संबंध, जिनसे हमारे दोनों राष्ट्रों को बेहद लाभ पहुंचने वाला है।

इन अवार्डों की घोषणा उप-प्रधानमंत्री महोदय के अगस्त महीने के नई दिल्ली, मुंबई और बंगलौर के वणिज्य मिशन के दौरान की गई, और इनकी परिकल्पना ऐसे व्यक्तियों की सराहना के उद्देश्य से की गई, जिन्होंने संस्कृति, वणिज्य तथा शिक्ष के क्षेत्र में द्विपक्षीय संबंधों को आगे बढ़ाया है।

ये नए अवार्ड दादाभाई नौरोजी को समर्पित हैं, जो ब्रिटिश संसद के प्रथम एशियाई सदस्य थे, और एक ऐसे व्यक्ति, जो ब्रिटेन में पहला भरतीय व्यवसाय लाए। वास्तविकता यह है कि उनके नाम पर ये अवार्ड, भरतीय जनता के प्रति उनके समर्पण, तथा ऐतिहासिक अवसरों पर उनकी प्रमुख भूमिकाओं को एक श्रद्धांजलि है।

अवार्ड्स के बारे में

इन अवार्ड की परिकल्पना एंड्र्यू विकर्स द्वारा की गई है, जो उत्तरी इंग्लैंड के एक प्रख्यात प्रस्तर शिल्पी हैं, और उन्होंने कई तरह के पत्थरों में अमूर्त तथा प्रतीकात्मक शिल्पकला का सृजन किया है। उन्होंने दादाभाई नौरोजी की आकर्षक छवि से प्रेरणा ग्रहण की, जिनका प्रतिरूप उन्होंने एक प्रस्तर खंड पर अंकित किया है।

जनता के सदस्यों की ओर से अवार्ड के लिए 80 से अधिक प्रविष्टियां प्राप्त हुईं। एक सम्यक सूचीकरण प्रक्रिया के उपरांत, डेविड लॉज, ह्यूगो स्वायर, लॉर्ड लिविंगस्टोन, ग्रेग क्लार्क तथा एड वेजे की उपस्थिति वाले एक मंत्री-समूह की संस्तुति द्वारा उप-प्रधानमंत्री ने प्रत्येक श्रेणी से विजेताओं का चुनाव किया।

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प्रकाशित 17 अक्टूबर 2014